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देहरादून बंजारा वाला में धाद का ३०१वा पुस्तकों का कोना स्थापित

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उत्तराखंड की समाज सेवी संस्था "धाद" द्वारा संचालित अनोखी मुहीम "एक कोना कक्षा" के अंतर्गत देहरादून के   प्राथमिक विद्यालय बंजारा वाला मे   ३०१वा कोना आज संचालित हुआ. इस अवसर पर   महिला सब इंस्पेक्टर दीपिका राणा ने   विद्यालय परिवार को पुस्तकों का कोना भेंट किया और उन्होंने   बच्चों का उत्साह वर्दन    करते हुए   पढ़ाई की महत्वता के बारे में बताया और   अच्छा नागरिक बनने , ट्रैफिक नियमो का पालन करने , अपराध व् हिंसा   न करने    तथा   कानून का सम्मान करने   की सीख दी. बच्चों मे साहित्यिक रचनात्मकता   को बढाया देने हेतु पुस्तकों का एक कोना भेंट करने के बाद धाद साहित्य एकांश द्वारा “ सुनो कहानी...पढो   कहानी " नामक कार्यक्रम का आयोजन किया गया जिसमे   " मन-सतरंगी" के अंतर्गत बच्चों से संवाद किया गया जहा बच्चों ने यह बताया कि वे इस दुनिया को कैसा देखना चाहते हैं , उनकी निगाह में उनका शहर व् प्रदेश   कैसा होना चाहिए.... वे क्या सपने देखते हैं...इत्यादि। विद्यालय की कक्षा ६ की छात्रा तुलसी ने कहा कि वह बडी़ होकर..."पुलिस"बनना चाहती है ता

धाद संस्था ने उत्तराखंड के 250 स्कूलों में स्थापित किये पुस्तकालयो के कोने, जानिए कैसे जुड़े इस मिशन से

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मुंबई/देहरादून  : रचनात्मक कार्यों में सक्रिय उत्तराखंड की समाजसेवी संस्था “ धाद ” ने   पहाड़ की नई पीढ़ी को बेहतरीन शिक्षण पुस्तकों को उपलब्ध करवा कर सक्षम बनाने के उदेश्य से एक अनोखी पहल आरम्भ की है जिसमे अब तक पूरे प्रदेश के अलग अलग जिलों में 250 से भी ज्यादा स्कूलों में पुस्तकालय के कोने संचालित किये गए है. इस सामाजिक संस्था ने हाल ही में मुंबई के कौथिक फाउंडेशन को इस सार्थक मुहीम में शामिल किया है जिसके सहयोग से बड़ी संख्या में प्रवासी उत्तराखंडियों को सीधे अपने स्कूल   व् गांव से जुड़ने   का मौका मिला है और वे यहाँ भविष्य की पीढ़ी को प्रेरित कर हौसले के साथ आगे बढ़ने में मदत कर पा रहे है। कौथिग फाउंडेशन ने अनेक वर्षो से मुंबई में उत्तराखंडी लोगो को खास तौर पर युवाओं को उनकी संस्कृति और जड़ों के करीब लाने में सफलतापूर्वक एकजुट एक मजबूत पहाड़ी कम्युनिटी कनेक्ट स्थापित किया है. और अब इनके माध्यम से ' धाद '  उत्तराखंड के सभी पर्वतीय क्षेत्र में ज्यादा मात्रा में आधुनिक और   उच्च स्तरीय पुस्तकों व् शिक्षण समाग्री   की व्यवस्था कर विधार्थियो को सशक्त बनाने के अपने लक्ष्य में